Dear Readers,
हर देश के राष्ट्रीय चिन्ह का अपना एक अलग पहचान होता है, किसी देश का राष्ट्रीय चिन्ह कैसा होगा यह उस देश के culture पर निर्भर करता है। वैसे हर देश के राष्ट्रीय चिन्ह के बारे में कोई न कोई facts जरूर होता है इसलिए हम यंहा आपको इस लेख में Indian national symbols के बारे में कुछ मजेदार facts बतायेंगे जिन्हें शायद आप इससे पहले नहीं जानते होंगे, तो चलिए इस आर्टिकल को शुरू करते हैं।
1. भारत का राष्ट्रीय पुष्प - कमल
Conclusion ;
तो डियर रिडरस ये रहा भारत के राष्ट्रीय प्रतीकों के बारे में कुछ मजेदार facts और जानने वाली बातें और यह लेख आपको कैसा लगा, हमें जरूर बतायें। अगर आपके मन इस आर्टिकल से संबंधित कोई सवाल या सुझाव है तो हमें कॉमेंट करके बता या पुछ सकते हैं, हम उसका reply जरुर देंगे और तबतक के लिए धन्यवाद।
हर देश के राष्ट्रीय चिन्ह का अपना एक अलग पहचान होता है, किसी देश का राष्ट्रीय चिन्ह कैसा होगा यह उस देश के culture पर निर्भर करता है। वैसे हर देश के राष्ट्रीय चिन्ह के बारे में कोई न कोई facts जरूर होता है इसलिए हम यंहा आपको इस लेख में Indian national symbols के बारे में कुछ मजेदार facts बतायेंगे जिन्हें शायद आप इससे पहले नहीं जानते होंगे, तो चलिए इस आर्टिकल को शुरू करते हैं।
1. भारत का राष्ट्रीय पुष्प - कमल
- यह भारत का राष्ट्रीय पुष्प है।
- इसे विज्ञान में नीलंबियन न्युसिफेरा (Nelumbian nucifera) के नाम से जाना जाता है।
- यह प्राचीन काल से ही भारतीय संस्कृति का मांगलिक प्रतिक रहा है तथा इसका जिक्र भारतीय ग्रंथों पुराणों में भी किया गया हैं।
- संस्कृत में यह पंकज, पंकरुह, सरसिज, सरोज, जलज, नलिन और उत्पल के नाम से भी जाना जाता है।
- इसे फारसी में 'निलोफर' अंग्रेजी मेें लोटस तथा चाइनीज मेें वाटर-लिली कहते है।
- यह भारत के आलावा वियतनाम का भी राष्ट्रीय पुष्प है।
- मोर भारत का राष्ट्रीय पक्षी है, इसे विज्ञान में Pavo cristatus के नाम से जाना जाता है।
- 26 January 1963 को भारत सरकार द्वारा मोर को राष्ट्रीय पक्षी घोषित किया गया।
- मोर का जीवनकाल लगभग 20 वर्षों का होता हैं।
- हिंदु समाज में मोर का धार्मिक महत्व भी है, इनके अनुसार मोर भागवान शिव के पुत्र कार्तिकेय की एक प्रिय सवारी है।
- भारत के अलाव म्यांमार का भी राष्ट्रीय पक्षी मोर ही है।
- मोर को संस्कृत में मयूर के नाम से उच्चारित किया जाता है।
- एक महत्वपूर्ण बात भारतीय वन्य जीव संरक्षण अधिनियम, 1972 के तहत आप मोर का शिकार नहीं कर सकते हैं, क्योंकि मोर के साथ यह करना गैर कानूनी माना जाएगा।
- बाघ भारत का राष्ट्रीय पशु है, इसे विज्ञान में Panthera tigris के नाम से जाना जाता है।
- April, 1973 में इसे भारत का राष्ट्रीय पशु घोषित कर दिया गया।
- क्या आपको पता हैं, भारत में बाघों की रक्षा के लिए 1973 ई. में Project Tiger नामक परियोजना शुरू की गई।
- बाघ का वजन लगभग 300 KG तक का होता है।
- बाघ पानी में भी तैर सकता है, कमाल की बात यह है कि बाघ 6 KM तक की दूरी आराम से तैर सकता है।
- यह भारत का राष्ट्रीय पेड़ है, विज्ञान में इसे Ficus benghalensis के नाम से जाना जाता है।
- इस पेड़ की शाखाए और जड़े बहुत लंबी और मोटी होती है, जिसके कारण यह विशालकाय और बड़ा दिखाई देता है।
- इस पेड़ की लम्बे जीवन के कारण इसे अनश्वर माना जाता है और यह भारत के इतिहास और लोक कथाओं का एक अविभाज्य अंग है।
- आज भी मैंने कई गांवों में देखा है कि इस पेड़ की छाव में ग्राम पंचायत या ग्राम सभा की बैठक होती हैं।
- तिरंगा भारत का राष्ट्रीय ध्वज है और भारत की संविधान सभा ने राष्ट्रीय ध्वज का प्रारूप 22 July 1947 को अपनाया।
- इसका प्रारुप सारनाथ में अशोक के सिंह स्तंभ पर बने चक्र से लिया गया है।
- राष्ट्रीय ध्वज तिरंगे की लंबाई और चौड़ाई का अनुपात 3:2 है।
- राष्ट्रीय ध्वज तिरंगे के तीन रंग होते हैं, शीर्ष में गहरा केसरिया रंग देश की ताकत और साहस को दर्शाता है, बीच में सफेद रंग धर्म चक्र के साथ शांति और सत्य का प्रतीक है और सबसे निचला भाग हरा रंग देश की हरियाली और विकास को दर्शाता है।
- क्या आपको पता हैं, नई सहिंता धारा 2 के तहत एक आम नागरिक भी अपने परिसर, कार्यालय में राष्ट्रीय ध्वज को फहरा सकता है।
- भारत का राष्ट्र-गान स्वर्गीय रविन्द्र नाथ टैगोर द्वारा रचित है, जो जन गण मन के नाम से जाना जाता है।
- राष्ट्र-गान गाने का पूर्ण समय 52 सेकेंड हैं।
- इसे भारतीय संविधान ने 24 January 1950 को भारत के राष्ट्र-गान के रुप में अपनाया।
- क्या आपको पता हैं, कुछ अवसरों पर राष्ट्र-गान संक्षिप्त रुप में भी गाया जाता है इसमें प्रथम तथा अंतिम पंक्तिया ही बोलते हैं, जिसमें लगभग 20 सेकेंड का समय लगता है।
- इसे सर्वप्रथम 27 December 1911 कांग्रेस के कलकत्ता अधिवेशन में गाया गया था।
- भारत का राष्ट्रीय गीत वन्दे मातरम् को बकीम चंद्र चटर्जी द्वारा संस्कृत में लिखा गया है, इसका स्थान भी जन गण मन के समान है।
- इसका गायन अवधि 1 मिनट 5 सेकेंड या 65 सेकेंड का होता है।
- इसे पहली बार 1896 में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के सत्र में गाया गया था।
- यह गीत लोगों में स्वतन्त्रता के समय लड़ाई के लिए एक प्रेरणा का स्रोत था।
- क्या आपको पता हैं, BBC world service द्वारा आयोजित एक अन्तरराष्ट्रीय सर्वेक्षण में, जिसमें उस समय तक के सबसे मशहूर दस गीतों का चयन करने के लिए दुनिया भर से लगभग 7,000 गीतों का चयन किया गया था उसमें BBC के अनुसार वन्दे मातरम् शीर्ष के दस गीतों में से दूसरे स्थान पर था।
- ₹ भारत का राष्ट्रीय मुद्रा-चिन्ह है, इसे भारत सरकार ने 15 July 2010 को मुद्रा-चिन्ह के रुप में स्वीकार कर लिया।
- रुपये का यह नया प्रतीक देवनागरी लिपि के 'र' और रोमन लिपि के अक्षर 'R' को मिलाकर बना है।
- इस चिन्ह को IIT के एक छात्र श्री डी.उदय कुमार ने बनाया है।
- इस चिन्ह को वित मंत्रालय द्वारा आयोजित एक खुली प्रतियोगिता में प्राप्त हजारों डिजाइनों में से चुना गया है।
- INR से भी भारतीय मुद्रा रुपये को संबोधित किया जाता है।
- भारत का राजचिन्ह सारनाथ में स्थित अशोक के सिंह स्तंभ से लिया गया है।
- मूल स्तंभ में शीर्ष पर चार सिंह हैं, जो एक-दूसरे की ओर पीठ किये हुए हैं लेकिन इसमें केवल तीन सिंह ही दिखाई देते हैं, चौथा दिखाई नहीं देता है।
- भारत सरकार द्वारा इस चिन्ह को 26 January 1950 को अपनाया गया।
- सत्यमेव जयते मुण्डकोपनिषद से लिया गया है जिसका अर्थ होता है, सत्य की ही विजय होती हैं।
- भारत का राष्ट्रीय फल आम है, इसे विज्ञान में Mangifera indica के नाम से जाना जाता है।
- आम में विटामिन-ए, विटामिन-सी और विटामिन-डी भी होते हैं, जो हमारे शरीर के लिए सेहतमंद है।
- भारत के अलाव आम फिलीपींस का भी राष्ट्रीय फल है और बंग्लादेश का राष्ट्रीय वृक्ष है।
- क्या आपको पता हैं, आम और इसकी पत्तियों को कई प्रकार की दवाईया बनाने में भी प्रयोग किया जाता है।
- आम से खाने का आचार, चटनी और कोल्ड ड्रिंक भी बनाया जाता है।
- क्या आपको पता हैं, आम के शाखाओं का प्रयोग भारतीय संस्कृति के मांगलिक कार्यों जैसे कि अखंड अष्टयाम, शुभ विवाह में हवन के ईंधन के रूप में किया जाता है।
Conclusion ;
तो डियर रिडरस ये रहा भारत के राष्ट्रीय प्रतीकों के बारे में कुछ मजेदार facts और जानने वाली बातें और यह लेख आपको कैसा लगा, हमें जरूर बतायें। अगर आपके मन इस आर्टिकल से संबंधित कोई सवाल या सुझाव है तो हमें कॉमेंट करके बता या पुछ सकते हैं, हम उसका reply जरुर देंगे और तबतक के लिए धन्यवाद।
0 Comments
Please always write a positive words in the comment box.